मैनपुरी में टिड्डी दलों ने फिर बोला हमला, रातभर पीछे दौड़ते रहे कृषि विभाग के अधिकारी

July 13 2020

मैनपुरी जिले में शुक्रवार की रात टिड्डी दल ने तबाही मचाई। रात में ही सूचना पर कृषि विभाग के अधिकारी दौड़ते रहे। सतर्कता से जहां एक दल को रात में ही खत्म कर दिया गया तो वहीं दो दल शनिवार को सुबह कई क्षेत्रों में होते हुए सीमावर्ती जिलों में प्रवेश कर गए। हालांकि कृषि विभाग अलर्ट पर है। किसानों को भी आगाह किया है। 

शुक्रवार रात को नौ बजे फिरोजाबाद क्षेत्र से पांच सौ मीटर लंबे एक टिड्डी दल ने जिले में प्रवेश किया। कृषि विभाग को इसकी सूचना मिलते ही उप कृषि निदेशक डीवी सिंह और जिला कृषि अधिकारी डॉ. गगन दीप सिंह मौके पर पहुंच गए। 

रात तकरीबन 11 बजे से कृषि विभाग की टीम के साथ अधिकारियों ने घिरोर क्षेत्र में टिड्डी दल की तलाश शुरू की। लगभग डेढ़ घंटे की तलाश के बाद मधन गांव के पास खेतों में बैठा ये झुंड को मिल गया। इस दौरान किसान भी टीम के मदद के लिए साथ रहे।

कीटनाशक का छिड़काव कराया गया

टीम के साथ आई दमकल की गाड़ी से क्लोरोपाइरीफोस दवा का स्प्रे कर इस झुंड को नष्ट कर दिया गया। इसके बाद टीम आसपास के गांव नगला भजन, नगला खेरिया, शाहजहांपुर आदि में रात दो बजे तक तलाश करती रही। कहीं भी टिड्डी न मिलने के बाद अधिकारी वापस लौट आए। 

शनिवार सुबह फिर अधिकारियों को दल की सूचना मिली। पता चला कि पांच-पांच सौ मीटर लंबे दो और दलों ने भी जिले में हमला किया है। एक दल बेवर और भोगांव क्षेत्र में सक्रिय था तो दूसरा दल किशनी और करहल क्षेत्र में। दिन होने के चलते ग्रामीण टिड्डियों को शोर करके उड़ाते रहे। 

एक दल जहां बिछवां, भोगांव, बेवर में होता हुआ दोपहर बाद फर्रुखाबाद की ओर निकल गया तो वहीं दूसरा दल दन्नाहार, किशनी, करहल, जागीर क्षेत्र में होता हुआ कन्नौज की ओर निकल गया। इससे कृषि विभाग ने राहत की सांस ली है।

टिड्डी धान के लिए बड़ा खतरा 

जिले में बड़े पैमाने पर धान की खेती की जाती है। अब धान की रोपाई का काम भी शुरू हो गया है। ऐसे में अब अगर टिड्डी आती है तो फसलों को बड़ा नुकसान होगा। अब तक तो खाली खेत होने के चलते बहुत अधिक नुकसान नहीं हुआ। इसकी चिंता कृषि विभाग और किसानों को भी सता रही है। 

अंडों की भी तलाश जारी 

कृषि विभाग ने जहां टिड्डी का एक दल खत्म कर दिया तो वहीं दो दल जिले की सीमा से बाहर निकल गए। इसके बाद भी कृषि विभाग परेशान है, क्योंकि रात में दलों के आने से उनके अंडे देने की आशंका अधिक है। अगर टिड्डी दलों ने अंडे दिए हैं तो उन्हें नष्ट कराना बहुत जरूरी है।

जिला कृषि अधिकारी डॉ गगन दीप सिंह ने बताया कि एक टिड्डी दल को दवा का स्प्रे कर रात में ही  खत्म कर दिया गया था। दो दल जिले की सीमा से अलग-अलग दिशाओं में चले गए हैं। अगर कहीं भी टिड्डी की सूचना मिले तो तत्काल सूचित करें। 

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स्रोत: Amar Ujala