नई दिल्ली .दक्षिण कोरिया को आम का निर्यात बढ़ाने के प्रयासों के तहत एपीडा ने सियोल स्थित भारतीय दूतावास और इंडियन चेम्बर्स ऑफ कॉमर्स, कोरिया (आईसीसीके) के सहयोग से वर्चुअल क्रेता-विक्रेता बैठक का आयोजन किया, ताकि भारत के आम निर्यातक और दक्षिण कोरिया के आयातक एक प्लेटफार्म पर इकट्ठा होकर बातचीत कर सकें।, इस मौसम में पहली बार भारत ने भौगोलिक संकेतक (जीआई) मार्का आम बनगनपल्ली और सुवर्णरेखा की अन्य किस्मों की ढाई मीट्रिक टन मात्रा दक्षिण कोरिया को निर्यात की । ये आम आंध्रप्रदेश के कृष्णा और चित्तूर के किसानों से प्राप्त किये ।
दक्षिण कोरिया को भेजे जाने वाले आमों को आंध्रप्रदेश एग्रो इंटीग्रेटेड पैकहाउस एंड वीएचटी सिस्टम, तिरुपति में प्रसंस्कृत किया जाता है। इस इकाई को अपेडा द्वारा वित्तीय सहायता प्राप्त है, ताकि इस क्षेत्र से ताजा फल और सब्जियों का निर्यात हो सके।
पैकिंग हाउस से लगभग 400 मीट्रिक टन ताजा फलों और सब्जियों का निर्यात किया गया है। भारत के दक्षिणी राज्यों के उत्पादों को इस पैकिंग हाउस के जरिये यूरोपीय संघ और गैर यूरोपीय देशों को निर्यात किया जाता है। इसके अलावा इन उत्पादों को इंग्लैंड, आयरलैंड, मध्य पूर्व देशों, आदि को भी भेजा जाताहै।अल्फांसो, केसर, तोतापुरी और बनगनपल्ली आमों का भारत से सबसे ज्यादा निर्यात होता है। आम निर्यात में तीन तरह के आम शामिल हैं – ताजा आम, आम का गूदा और आम की फांक।
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स्रोत: krishakjagat