गेहूं-आलू की फसल के लिए चिंता का कारण बनी बारिश

May 06 2021

जिले के के बड़ा भंगाल की ऊंची जोतों और धौलाधार पर्वत पर कई वर्षों बाद मई महीने में बर्फबारी हुई है। इसके चलते तापमान में गिरावट आई है। वहीं, जिला भर में रात से रुक-रुककर बारिश होने से गेहूं की फसल की कटाई में जुटे किसानों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। पालमपुर क्षेत्र में अभी तक करीब 70 फीसदी फसल खेतों में ही है। उपमंडल पालमपुर में मंगलवार सुबह भी खूब बारिश हुई, जिससे किसानों की चेहरों पर एक बार फिर से गेहूं और आलू की फसल को लेकर चिताएं बढ़ गई हैं।

भारी बारिश से अब आलू की फसल को भी नुकसान हो सकता है। मंगलवार सुबह पालमपुर में एक बार फिर से बारिश हुई, जिससे अब किसानों का गेहूं की कटाई और थ्रेसिंग का काम रुक गया है, जबकि खेतों में पड़ी गेहूं की फसल को अब ओर बारिश होती है तो नुकसान हो सकता है। वहीं उपमंडल में इस समय किसानों की आलू की फसल भी करीब तैयार हो गई है, लेकिन हो रही भारी बारिश से आलू की फसल को भी धूप न मिलने नुकसान हो सकता है। नूरपुर, कांगड़ा और धर्मशाला उपमंडल में भी अभी कई किसानों की गेहूं की फसल खेतों में ही है। इससे बार-बार हो रही बारिश किसानों को सताने लगी है। वहीं जिला भर के कई हिस्सों में सुबह बारिश होने के बाद दिन भर बादल छाए हैं। इससे अभी और बारिश के आसार है। हालांकि बारिश-बर्फबारी से किसी तरह के नुकसान की कहीं से कोई खबर नहीं है।

बड़ा भंगाल और मुल्थान क्षेत्र में भी सभी सड़कों पर आवाजाही जारी है। बिजली पानी की व्यवस्था भी सुचारू बनी हुई है। वहीं, देर रात भारी बारिश से सहौड़ा गांव में एक कच्चे मकान के बरामदे की छत गिर गई। तहसीलदार प्रवीण कुमार ने बताया कि मामले की सूचना देर शाम को मिली थी। मौके पर पटवारी को नुकसान का मुआयना करने के लिए भेजा गया है।

 

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स्रोत: Amar Ujala