पिछले दिनों भारी बरसात और विपरीत मौसम के कारण फसलों के नुकसान को लेकर दुखी किसानों के लिये मोदी सरकार राहत लेकर आयी है. फसलों के नुकसान से जुझ रहे किसानों की समस्या का समाधान करते हुए सरकार ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में बड़ा कदम उठाया है.
फसलों का नुकसान कितना हुआ है, इसका सटीक आंकलन करने के लिये अब सरकार सैटेलाइट का सहारा लेगी. इस बारे में विशेषज्ञों की माने तो सरकार का ये कदम सराहनीय है क्योंकि इससे एक तरफ धांधली की संभावना कम है, वहीं किसानों को भी उनका उचित मुआवजा मिलेगा. जानकारी के मुताबिक स्मार्ट सैंपलिंग के जरिये सरकार ये सुनश्चित करेगी कि किसानों को जल्दी से जल्दी उनका भुगतान मिल जाये.
पायलेट प्रोजेक्ट पर शुरू हुआ कामः
इस काम को जल्दी ही बड़े स्तर पर सरकार करेगी. फिलहाल देश के 10 राज्यों के 96 जिलों में पायलट प्रोजेक्ट के तहत ये काम किया जा रहा है. इस बारे में बताते हुआ केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने बताया है कि हम नुकसान का आंकलन कर रहे हैं और जल्दी ही किसानों को मुआवजा मिल जायेगा.
इनको मिलेगा लाभः
इस योजना से उन किसानों को लाभ मिलेगा जिनकी फसलें किसी भी प्राकृतिक आपदा जैसे- बरसात, तूफान आदि के कारण नष्ट हो गयी है या प्रभावित हुई है.
वो किसान जिनकी फसलों को कीड़ों और रोगों का प्रकोप सहना पड़ा है और इस वजह से फसलों का नुकसान हुआ है.
योजना का लाभ लेने के लिये इन दस्तावेजों की है जरूरतः
- आपकी एक फोटो
- आपका अपना पहचान पत्र (पैन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, वोटर आईडी कार्ड, पासपोर्ट, आधार कार्ड)
- आपका अपना काई एड्रेस प्रूफ (ड्राइविंग लाइसेंस, वोटर आईडी कार्ड, पासपोर्ट, आधार कार्ड)
- खेत का खसरा नंबर/ खाता नंबर का पेपर
- बुवाई के सबूत
इस खबर को अपनी खेती के स्टाफ द्वारा सम्पादित नहीं किया गया है एवं यह खबर अलग-अलग फीड में से प्रकाशित की गयी है।
स्रोत: कृषि जागरण