केंद्रीय बजट में हिमाचल के लाखों बागवानों को मिली बड़ी राहत, पूरी हुई दशक पुरानी ये मांग

February 03 2021

हिमाचल प्रदेश के लाखों सेब बागवानों को केंद्रीय बजट से बड़ी राहत मिली है। दशक पुरानी मांग को पूरा करते हुए पहली बार विदेशों से आने वाले सेब पर 35 फीसदी कृषि सेस लगाने की घोषणा की गई है। सेस लगने से विदेशी सेब का भारत की फल मंडियों में आयात घट जाएगा, जिससे हिमाचली सेब के दाम बढ़ जाएंगे। अमेरिका, ईरान, तुर्की समेत करीब 40 देशों से भारत में सेब आयात होता है। ट्रेड वॉर के बीच पहले से ही अमेरिकी सेब पर 70 फीसदी आयात शुल्क लगाया गया है। अब 35 फीसदी सेस के बाद कुल शुल्क 105 फीसदी हो जाएगा। इससे वर्तमान में सबसे ज्यादा आने वाले वॉशिंगटन सेब को भारत पहुंचाना महंगा सौदा साबित होगा।

सार्क को छोड़कर अन्य देशों पर वर्तमान में 50 फीसदी आयात शुल्क है। 35 फीसदी सेस को जोड़कर यह 85 फीसदी हो जाएगा। ऐसे में तुर्की, ईरान जैसे देशों से भी सेब का आयात हतोत्साहित होगा। इसके अलावा इन देशों का सेब फ्री ट्रेड वाले सार्क देशों जैसे अफगानिस्तान, श्रीलंका आदि के चोर रास्तों से भारत आता है तो इस पर भी अंकुश लगाया जा सकेगा। मोदी सरकार ने सबसे बड़े आयातक रह चुके चीन के सेब पर पहले से ही पाबंदी लगा रखी है। उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव से पहले पीएम नरेंद्र मोदी ने हिमाचल प्रदेश आकर विदेशी सेब पर आयात शुल्क बढ़ाने की घोषणा की थी। 

डब्ल्यूटीओ की मध्यस्थता में व्यापार समझौते के अनुसार अन्य देशों पर 50 फीसदी से ज्यादा आयात शुल्क नहीं लगाया जा सकता है। इसीलिए 35 फीसदी सेस लगाकर केंद्र ने नया रास्ता निकाला है। - डॉ. राकेश शर्मा, हिपा शिमला में कार्यरत अर्थशास्त्री

 

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स्रोत: Amar Ujala