सरकार ने जैविक खाद को बढ़ावा देने के लिए उद्यानिकी विभाग के माध्यम से खेत पर ही जैविक खाद तैयार करने की मुहिम चलाई है। क्षेत्र में 229 किसानों ने अपने खेतों पर वर्मी कंपोस्ट यूनिट तैयार की है, लेकिन ये किसान पिछले तीन महीने से केचुओं का इंतजार कर रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि यूरिया एवं अन्य फर्टीलाइजर का उपयोग करने से मिट्टी की उर्वरा शक्ति कमजोर होती है। इसे देखते हुए उद्यानिकी विभाग द्वारा 229 खेतों पर मई-जून माह में प्लास्टिक की तीन फीट चौड़ी व करीब छह फीट लंबी वर्मी यूनिट तैयार करवाई गई। किसानों ने इनमें रेत, मिट्टी एवं अन्य अपशिष्ट पदार्थ भरकर रखे हुए हैं, लेकिन लगभग तीन माह बीत जाने के बावजूद उद्यानिकी विभाग से केचुए नहीं मिल पाए हैं, जिस कारण जैविक खाद बनाने से किसान वंचित है। ब्लॉक उद्यानिकी अधिकारी राकेश सोलंकी का कहना है कि हमने क्षेत्र के सभी 229 किसानों की मांग सूची वरिष्ठ कार्यालय को भेज दी है। केचुओं की आपूर्ति भोपाल से ठेकेदार के माध्यम से की जाना है।
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स्रोत: Nai Dunia