जानिए कैसे कर्नाटक सरकार ने अपने बज़ट से एक ही पल में जनता को लाभ और नुकसान दोनो पहुंचाया

July 07 2018

एक कहावत तो आप लोगो ने सुनी ही होगी हाथी के दांत खाने के अलग और दिखाने के अलग यह मुहावरा मौजूदा कर्नाटक सरकाक पे बिल्कुल सही बैठता है।  कर्नाटक विधानसभा से पहले समूचा विपक्ष पेट्रोल और डीज़ल के दामों को लेकर केंद्र सरकार पे निशाना साधे हुए था। लेकिन कुमार स्वामी कि सरकार के जारी किए हुए  बज़ट ने सबको आशचर्य में डाल दिया 

गुरुवार को कर्नाटक के मुख्यमंत्री  कुमार स्वामी ने शपथ ग्रहण किए गए अपने पूर्व चुनाव वादे को निभाया। 34,000 करोड़ रुपये के बड़े पैमाने पर कृषि ऋण छूट की घोषणा की। इस छूट से करीब 30 लाख कृषि परिवारों को फायदा होगा जिनके पास 2 लाख रुपये तक फसल ऋण है।

हालांकि, यह ऋण छूट का लाभ एक नुकसान के साथ आया क्योंकि इस लाभ को वित्त पोषित करने के लिए कुछ चीजों पर टैक्स की दरों को बढ़ा दिया गया जिसमें डीज़ल और  पेट्रोल प्रमुख है। पैट्रोल पर कर की दर 30 प्रतिशत से बढ़कर 32 प्रतिशत कर दी गई, जिससे ईंधन प्  1.14 रुपये प्रति लीटर हो गया है। डीजल को 1.12 रुपये प्रति लीटर महंगा कर दिया गया।

बिजली की खपत पर कर की दर भी 6 प्रतिशत से बढ़ाकर 9 प्रतिशत कर दी गई है। प्रभाव में बिजली परिवर्तन 10 पैसे प्रति यूनिट से 20 पैसे प्रति यूनिट तक दोगुना हो गया है।

कुमरस्वामी ने बजट पेश करते हुए कहा कि किसानों को ऋण छूट के वादे को पूरा करने के संसाधनों को एकत्रित करने के लिए ये सभी कदम आवशयक हैं।

Source: Krishi Jagran