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Posted by GB Pant University
Punjab
2018-04-27 09:14:42

प्याज की पत्तियों में झुलस रोग का नियंतरण

नैनीताल, उत्तराखंड 

1.प्याज मे पत्ती झुलसा रोग के नियंत्रण हेतु टब्ेाुकोनाजोल या डिफिनोकोनाजोल या प्रोपीकोनाजोल का 500 मिली0 प्रति है0 की दर से किसी सर्वांगी कीटनाशी एवं स्टीकर के साथ मिलाकर छिड़काव करे।

2.ऊँचाई वाले पर्वतीय क्षेत्र में, बैंगन, टमाटर, शिमलामिर्च का प्रतिरोपण करं े तथा आवश्यकतानुसार जीवन रक्षक पानी पौधों को सुलभ करायं।े साथ ही साथ नमी संरक्षण की समुचित व्यवस्था रखें।

3.आलू में यूरिया की टाॅप डैªसंग कर मिट्टी चढा़ ये तथा आवश्यकतानुसार सिंचाई करें।

4.मिर्च व टमाटर की फसल मे विषाणु जनित रोगो के नियत्रंण हेतु संक्रमित पौधो को निकालकर नष्ट कर दंे।

5.टमाटर व मिर्च की फसल मे सिकुड़े हुए चित्तकबरे पत्त े दिखाई देन े पर ग्रसित पौधो को निकालकर नष्ट करे। तथा रस चसू ने वाले कीड़ो के नियत्रंण हेतु सर्वागीं कीटनाशी का छिड़काव करें। पछेती झुलसा रोग के प्रकोप से बचाव हेतु मैनकोजेब 2.5 ग्रा0/ली0 या काॅपर आॅक्सीक्लोराइड 3.0 ग्रा0 प्रति ली0 पानी की दर से घोल बनाकर छिडकाव करे।

6.मध्यम एवं निचले पर्वतीय क्षेत्रों में आड़ू के पर्णकुंचन रोग की रोक-थाम के लिए कीटनाशक रसायनों का द्वितीय छिड़काव करें।