Posted by महाराणा प्रताप कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय
Punjab
2018-04-13 11:25:40
भीलवाड़ा जिले के लिए मौसम आधारित कृषि परामर्श
अवधिः 14 अप्रैल 2018 से 18 अप्रैल 2018
मौसम विज्ञान विभाग, जयपुर से प्राप्त सूचनाओं के आधार पर आगामी 5 दिनों में भीलवाड़ा जिले में आसमान में हल्के बादल छायें रहने की संभावना है। हवा की गति 3 से 7 किलोमीटर प्रतिधण्टा के वेग से पुर्वी से दक्षिणी पश्चिमी से चलने तथा अधिकतम तापमान 36 से 38 एवं न्यूनतम 23 से 25 डिग्री से. रहने के साथ साथ वायु में आर्दता की मात्रा अधिकतम 56 से 69 प्रतिशत तक एवं न्यूनतम 8 से 11 प्रतिशत रहने की सम्भावना है।
1.अगले पाॅंच दिनों के मौसम के पूर्वानुमान के आधार पर किसान भाईयों को सलाह दी जाती है किः
2.गेहूँ की फसल की कटाई-मंड़ाई का प्रबन्ध कर लें। मौसम की स्थिति अनुसार फसल कटाई कर सुरक्षित करें।
3.जायद मंूगफली में सुइया बनते समय सिंचाई करें। तापमान एवं मृदा में उपस्थित नमी के अनुसार सिंचाई करें।
4.करेला, तुरई, टिण्डा, ककड़ी व खरबूजा में फल मक्खी के प्रकोप से फल काणंे हो जाते हैं। फल मक्खी के नियंत्रण हेतु काणंे फलों को तोड़कर भूमि में गहरा गाड़कर नष्ट कर देवें तथा कीटनाशी दवा मैलाथियाॅन 50 ई.सी. का एक मिलीलीटर प्रति लीटर पानी की दर से घोल बनाकर छिड़काव करें।
5.किसान अपने खेतों से मिट्टी और पानी के नमूने लेकर मृदा परीक्षण प्रयोगशालाओं में मिट्टी-पानी की जाँच करवायें। इससे फसल के लिए संतुलित खाद/उर्वरक की मात्रा का पता चलेगा, साथ ही पैसों की बचत होगी एवं मिट्टी की उर्वरा शक्ति बढे़गी।
6.इस समय वातावरण में तापमान व हवा की गति अधिक होने के कारण वाष्पोत्सर्जन कि दर बढ सकती है अतः मृदा में नमी को बनाये रखने के लिए सब्जियो व फसलो में सिंचाई के अन्तराल को कम कर 5-6 दिन के अन्तराल पर सिंचाई करें।