दार्जिलिंग टी के नाम पर भारत में बिक रही है नेपाली चाय

October 18 2019

घरेलू बाजार में नेपाली चाय का दबदबा बढ़ने से इस साल दार्जिलिंग टी की बिक्री पर असर पड़ा है। इसकी वजह से जनवरी और सितंबर 2019 के बीच दार्जिलिंग की चाय की औसत कीमत पिछले साल की तुलना में 27 पर्सेंट घटी है। नीलामी में इसकी कुल खरीदारी 50 पर्सेंट से कम रही। इस साल के ऑक्शन में दार्जिलिंग टी की औसत कीमत 356.19 रुपये प्रति किलो के लगभग रही। पिछले साल यह आंकड़ा 486.21 रुपये प्रति किलो पर था। 

दार्जिलिंग के 87 चाय बागान सालाना 80-85 लाख किलो चाय का उत्पादन करते हैं। इंडस्ट्री एग्जिक्यूटिव्स ने बताया कि 2017 में दार्जिलिंग में गोरखा जनमुक्ति मोर्चा के आंदोलन के चलते चाय बागान चार महीने बंद रहे थे। इससे चाय की गुणवत्ता प्रभावित हुई थी, जिसका असर अब तक देखने को मिल रहा है। दार्जिलिंग टी असोसिएशन (DTA) के सचिव कौशिक बसु ने बताया, हमें उम्मीद है कि अगले साल तक क्वॉलिटी बेहतर हो जाएगी।

जय श्री टी ऐंड इंडस्ट्रीज के मैनेजिंग डायरेक्टर डी पी माहेश्वरी ने बताया, नेपाली चाय ने दार्जिलिंग टी के घरेलू बाजार में सेंध लगाई है। नेपाली चाय को मार्केट में दार्जिलिंग चाय के रूप में बेचा जा रहा है। ग्राहकों के लिए इनमें अंतर पहचानना मुश्किल है। कारोबारी इसका फायदा उठा रहे हैं। उन्होंने बताया, 2017 में अनियमित सप्लाई के बाद जापानी खरीदारों ने भी हाथ खींच लिए। वे पहले 10 लाख किलो दार्जिलिंग टी खरीदते थे। इससे भी मार्केट का सेंटिमेंट खराब हुआ है।  

दार्जिलिंग की चाय के वैश्विक बाजार में भी सेंध मार रही नेपाली चाय 

2017 में दार्जिलिंग टी प्लांटेशन के चार महीने तक ठप पड़ने के बाद भारत में नेपाली चाय की भारी मात्रा में बिक्री होने लगी। इंडस्ट्री का आरोप है कि यह अब दार्जिलिंग की चाय के वैश्विक बाजार में भी सेंध मार रही है। डीटीए के सचिव ने बताया कि नेपाली चाय पर रोक लगाना मुश्किल है, क्योंकि नेपाल के साथ भारत का फ्री-ट्रेड एग्रीमेंट है। उन्होंने बताया, हमने टी बोर्ड से नेपाली चाय पर निगरानी बढ़ाने को कहा है, ताकि घरेलू बाजार में उसे दार्जिलिंग चाय के नाम पर बेचा न जा सके।  

दार्जिलिंग के प्लांटर शिव शंकर बागड़िया ने आरोप लगाया कि एक बड़े चाय उत्पादक ने पिछले साल पुराने प्लांटेशन की सही से छंटाई नहीं की थी। इस कारण चाय की क्वॉलिटी खराब हुई है। उन्होंने कहा, उनकी चाय के अच्छे दाम नहीं मिल रहे हैं। इससे नीलामी में कीमतें घटी हैं।  

भारत में नेपाली चाय की अच्छे दाम पर बिक्री 

सूत्रों के मुताबिक, नेपाल के चाय विक्रेता लोकल GST नंबर के तहत यहां एक डीलर या एजेंट नियुक्त करते हैं। एजेंट देश में उनकी चाय बेचते हैं, जिसके बदले नेपाली विक्रेता 5 पर्सेंट GST का भुगतान करते हैं। नेपाली चाय विक्रेता अतिरिक्त खर्च करने से हिचकिचाते नहीं हैं, क्योंकि भारत में उनकी चाय की अच्छे दाम पर बिक्री होती है। 

 

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स्रोत: नवभारत टाइम्स